भारतीय रेल की तरह जापान के रेलवे कोच भी मिथिला पेंटिंग से सजेंगे

December 27, 2019, 11:39 AM
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बिहार की प्रमुख लोककला मिथिला पेंटिंग यूं तो पहले भी जापान पहुंच चुकी है, मगर इस बार इस पेंटिंग से भारतीय रेल की तरह जापान की ट्रेनों की बोगियों को भी सजाने की तैयारी चल रही है. बिहार संपर्क क्रांति एक्सप्रेस और पटना से नई दिल्ली जाने वाली राजधानी एक्सप्रेस की बोगियों को मिथिला पेंटिंग से सजाए जाने की विदेशों में भी प्रशंसा की जा रही है. इन दोनों ट्रेनों की बोगियों पर मिथिला पेंटिंग उकेरे जाने से ना केवल नए बोगियों को नया लुक मिला है, बल्कि इस लोककला को जन-जन तक पहुंचाने में भी मदद मिल रही है. इससे मिथिला पेंटिंग को कई क्षेत्र के लोग जान और समझ भी रहे हैं. भारतीय रेल की इस पहल की विदेशों में भी प्रशंसा की जा रही है.

बिहार की प्रमुख लोककला मिथिला पेंटिंग यूं तो पहले भी जापान पहुंच चुकी है, मगर इस बार इस पेंटिंग से भारतीय रेल की तरह जापान की ट्रेनों की बोगियों को भी सजाने की तैयारी चल रही है. बिहार संपर्क क्रांति एक्सप्रेस और पटना से नई दिल्ली जाने वाली राजधानी एक्सप्रेस की बोगियों को मिथिला पेंटिंग से सजाए जाने की विदेशों में भी प्रशंसा की जा रही है. इन दोनों ट्रेनों की बोगियों पर मिथिला पेंटिंग उकेरे जाने से ना केवल नए बोगियों को नया लुक मिला है, बल्कि इस लोककला को जन-जन तक पहुंचाने में भी मदद मिल रही है. इससे मिथिला पेंटिंग को कई क्षेत्र के लोग जान और समझ भी रहे हैं. भारतीय रेल की इस पहल की विदेशों में भी प्रशंसा की जा रही है.

रेलमंत्री पीयूष गोयल ने भी एक ट्वीट कर लिखा है, ‘मधुबनी स्टेशन को मिथिला पेंटिंग्स से सौंदर्यीकृत करने से इस प्रसिद्ध कला को नई पहचान मिली है, जिसकी प्रशंसा युनाइटेड नेशन द्वारा भी की गई. इस कला को और बढ़ावा देने के लिए दरभंगा-नई दिल्ली बिहार संपर्क क्रांति व पटना-नई दिल्ली राजधानी एक्सप्रेस को भी इस पेंटिंग से सजाया गया है.’

रेलवे के सूत्रों का कहना है कि जापान रेलवे ने इस संदर्भ में प्रशंसा भी की है तथा कहा जा रहा है कि जल्द ही जापान की ट्रेनों और रेलवे स्टेशनों पर मिथिला (मधुबनी) पेंटिंग लगाई जाएंगी. सूत्रों का दावा है कि जापान की रेलवे ने भारत सरकार से इस संबंध में संपर्क साधा है कि उनके ट्रेनों व रेलवे स्टेशनों पर मिथिला पेंटिंग किस तरह लगाई जाए. पूर्व-मध्य रेलवे के मुख्य जनसंपर्क अधिकारी राजेश कुमार ने आईएएनएस को बताया कि रेलवे द्वारा उठाए गए इन कदमों से मिथिला पेंटिंग और उससे जुड़े कलाकारों को देश-विदेश में एक नई पहचान मिली है. उन्होंने एक सूत्र का हवाला देते हुए बताया कि विश्व के कई देशों के उच्चाधिकारी भी मिथिला पेंटिंग से काफी प्रभावित हुए हैं. अब वे भी अपने देशों में चलने वाली ट्रेनों को इस कला के माध्यम से सजाने की योजना बना रहे हैं.

उल्लेखनीय है कि जापान में पहले से ही मिथिला पेंटिंग काफी लोकप्रिय है. जापान में दशकों पुराना मिथिला म्यूजियम भी है, जिसमें मधुबनी पेंटिंग की कलाकृतियां मौजूद हैं. जापान के निगाता में स्थापित इस मिथिला म्यूजियम की स्थापना हासेगावा ने की है. इस म्यूजियम में मधुबनी पेंटिंग की करीब 1500 कलाकृतियां रखी गई हैं, जापान के लोग यहां से ये पेंटिंग खरीदते भी हैं. हासेगावा इस सिलसिले में स्वयं कई बार मधुबनी आ चुके हैं. जापान के चर्चित कलाप्रेमी हासेगावा के निमंत्रण पर कई चर्चित मिथिला पेंटिंग कलाकार जापान जा चुके हैं. हासेगावा बिहार के कलाकारों से मधुबनी पेंटिंग खरीदते हैं.

Source – NS

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